अलीगढ़ में बसपा के मुख्य सेक्टर प्रभारी के घर पर हाथरस के कार्यकर्ताओं का हंगामा

harshita's picture

RGA news 

अलीगढ़ में बसपा के मुख्य सेक्टर प्रभारी के घर पर हाथरस के कार्यकर्ताओं का हंगामा

जिला पंचायत सदस्य प्रत्याशी बनाने के नाम पर पैसा लेने का आरोप मंडल के मुख्य सेक्टर प्रभारी ने स्वजन से अभद्रता का लगाया आरोप।

हसायन (हाथरस) के कुछ कथित बसपाइयों ने सोमवार को बसपा के आगरा व अलीगढ़ मंडल के मुख्य सेक्टर प्रभारी सूरज सिंह के बन्नादेवी क्षेत्र में आवास विकास कालोनी स्थित आवास पर हंगामा व नारेबाजी की। इनका आरोप था कि जिला पंचायत सदस्य प्रत्याशी बनाने के नाम पर सूरज सिंह ने मोटी रकम वसूली, फिर भी प्रत्याशी नहीं बनाया गया। सेक्टर प्रभारी ने हंगामा करने वालों के खिलाफ बन्नादेवी थाने में तहरीर दी है।

हसायन निवासी विश्वनाथ प्रताप सिंह उर्फ बंटी भैया दर्जनभर समर्थकों के साथ सूरज सिंह के आवास पर पहुंचे। यहां सूरज सिंह से मिलने की इच्छा जताई तो महिलाओं ने कहा कि वे बाहर हैं। बंटी के साथ गए लोग उनसे मिलने की जिद करने लगे। उनका कहना था कि सूरज घर के अंदर ही हैं। जानकारी होने पर सूरज ने बन्नादेवी पुलिस को मोबाइल कर कुछ लोगों के घर पर हमला करने की सूचना दी। खुद को सच्चा बसपाई कहने वाले बसपा के समर्थन में व सूरज के विरोध में नारेबाजी करने लगे। बंटी ने घटनाक्रम का लाइव इंटरनेट मीडिया पर शुरू कर दिया। सूचना पर पुलिस पहुंच गई। अलीगढ़ बसपा जिलाध्यक्ष रतनदीप सिंह भी पहुंच गए। आरोप प्रत्यारोप के बीच बंटी को समझाया। प्रदर्शन करने वाले लोग दो कारों में सवार होकर चले गए।

बंटी ने पार्टी समर्थित प्रत्याशी के खिलाफ जिला पंचायत सदस्य का चुनाव लड़ा था। तभी इन्हें पार्टी से निष्कासित कर दिया गया था। इसी से नाराज होकर पैसा लेने के आरोप लगा रहे हैं। बंटी ने समर्थकों के साथ मेरे घर पर हमला किया। स्वजन से अभद्रता व फायरिग की। मैं उस समय घर पर नहीं था। हंगामा करने वाले बसपाई नहीं हैं।

सूरज सिंह, मुख्य सेक्टर प्रभारी बसपा सूरज सिंह ने बसपा समर्थित जिला पंचायत सदस्य प्रत्याशी बनाने के नाम पर जिले से करीब डेढ़ करोड़ रुपया वसूला है, जिसमें मुझसे भी सात लाख रुपये भी लिए गए थे। यह पैसा मैंने पार्टी के एक पूर्व जिलाध्यक्ष के घर पर दिया था। प्रत्याशी न बनाने पर मैंने चुनाव लड़ा। तीसरे नंबर पर रहा। बसपा प्रत्याशी पांचवें नंबर पर रहा। सूरज ने मेरे पांच लाख रुपये वापस कर दिए, दो लाख रुपये रह गए। सात लाख रुपये जिलाध्यक्ष बनाने के नाम पर लिए थे। वे आज तक वापस नहीं किए। मैंने पुलिस के समक्ष अपना पक्ष रख दिया है। फायरिग व अभद्रता का आरोप गलत है। सीसीटीवी कैमरों में सबकुछ कैद है। मैं भी तहरीर दूंगा।

News Category: 

Scholarly Lite is a free theme, contributed to the Drupal Community by More than Themes.