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RGA न्यूज़
पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा है।
घर में कलह के चलते पत्नी एक महीने पहले अपने मायके चली गई।इसके बाद से आने का नाम नहीं ले रही थी।इससे युवक अवसाद में रहने लगा और बुधवार की सुबह घर की छत पर नल के हत्थे के सहारे फंदा बनाकर उसमें झूल गया।
बरेली,घर में कलह के चलते पत्नी एक महीने पहले अपने मायके चली गई।इसके बाद से आने का नाम नहीं ले रही थी।इससे युवक अवसाद में रहने लगा और बुधवार की सुबह घर की छत पर नल के हत्थे के सहारे फंदा बनाकर उसमें झूल गया।इससे उसकी मौत हो गई।दूसरी मंजिल से शव लटकता देख पड़ोसियों ने मामले की जानकारी परिवार वालों और पुलिस को दी।पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा है।
मुजरिया थाना क्षेत्र के गांव बितरोई निवासी सचिन कुमार ने बुधवार सुबह घर की छत पर चढ़कर नल के हत्थे के सहारे गले मे फंदा लगाकर दूसरी मंजिल से कूदकर खुदकुशी कर ली। सचिन की पत्नी एएनएम है। पत्नी की सचिन कुमार से दूसरी शादी हुई थी। दोनों के बीच आपस में कलह बनी रहती थी। एक माह पहले युवक की पत्नी विवाद के बाद मायके चली गई थी। इससे सचिन कुमार अवसाद में रहने लगा था। मृतक साइकिल पंचर की दुकान चलाता था। पुलिस ने युवक का शव कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम को भिजवाया है। एसओ वेदपाल सिंह ने बताया, घरेलू कलह में युवक ने खुदखुशी की है।
हत्या नहीं करंट लगने से हुई थी वीरेंद्र की मौत : उझानी कोतवाली पुलिस ने 11 जून को भवानीपुर गांव स्थित मक्के के खेत में लापता फल विक्रेता के मिले कंकाल के मामले में मंगलवार को राजफास कर दिया है। फल विक्रेता की हत्या नहीं बल्कि करंट से झुलसने के बाद उसकी लाश को दूसरे के खेत में फेंका दिया गया था। पुलिस ने पिता पुत्र समेत तीन के खिलाफ गैर इरादतन हत्या का मुकदमा दर्ज किया था। मुख्य आरोपित को गिरफ्तार कर जेल भेजा है
उझानी कोतवाल विशाल प्रताप सिंह ने बताया, भवानीपुर निवासी वीरेंद्र उर्फ ओमवीर चंडीगढ़ में फल बेचने का काम करता था। 30 मई की दोपहर को वह चंडीगढ़ से गांव के लिए लौटा था। रात करीब खाना खाने के बाद वह टहलने के लिए निकला लेकिन घर वापस नहीं लौटा। स्वजन ने उसकी काफी खोजबीन की, बावजूद उसका कोई सुराग नहीं लग सका था। जिसके बाद उसके पिता पोथीराम ने आठ जून को तहरीर देकर गुमशुदगी दर्ज करा दी थी।
11 जून की सुबह गांव के लोग टहलने के लिए जा रहे थे। तभी ग्रामीणों को श्रीपाल के मक्का के खेत से दुर्गंध सुंघाई दी। ग्रामीणों ने देखा तो वहां क्षत विक्षत हालत में एक युवक का कंकाल पड़ा हुआ था। जिसकी शिनाख्त वीरेंद्र के रूप में हुई।स्वजन ने आरोप लगाया था कि वीरेंद्र की हत्या हुई है। पुलिस ने मामले की गहनता से जांच की तो पता लगा इसी गांव के धर्मसिंह के खेत में की गई तारकसी में छोड़े गए करंट की चपेट में आकर मौत हो गई थी।
स्वजन की तहरीर पर धर्मसिंह और उसके बेटे गजेंद्र सिंह और प्रभाकर उर्फ टीटू के खिलाफ गैर इरादतन का मुकदमा दर्ज कर लिया था। मंगलवार की सुबह पुलिस ने धर्मसिंह को गिरफ्तार कर लिया।धर्मसिंह बोला बेटे के साथ मिलकर फेंक दी थी लाशपुलिस की पूछताछ में धर्मसिंह ने बताया, कि आवारा पशु उसके खेत में मक्का को काफी नुकसान पहुंचा रहे थे। आवारा पशुओं को रोकने के लिए खेत के चारों तरफ बिजली के तार लगा दिये थे।
वह रोजाना रात में तारों में बिजली का करंट छोड़ दिया करता था। 30 मई को भी रोजाना की तरह बिजली का करंट तारकसी में छोड़कर वह घर आ गया था। अगले दिन सुबह बिजली का करंट हटाने के लिए खेत पर गया तो वीरेंद्र उर्फ ओमवीर की करंट की चपेट में आने से मौत गई थी। उसने अपने पुत्र की मदद से वीरेंद्र के शव को उठाकर श्रीपाल के खेत में फेंक दिया था। जिसके बाद बिजली के तार भी खेत से हटा दिये थे। पुलिस मुख्य आरोपित के दोनों बेटों की तलाश कर रही है।