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UP Assembly Elections 2022 मतदान को लेकर जिले में चलाए गए मतदाता जागरूकता अभियान का बड़ा असर सामने आया है। जिले में मतदाताओं की संख्या तो बढ़ी ही है खास बात यह है कि इस बार महिला मतदाताओं की संख्या तेजी से बढ़ी है।
विधानसभा चुनाव से पहले बरेली में बढ़ी महिला मतदाओं की संख्या, जानिए क्या हुआ पुरुष महिला वोटरों का अनुपात
बरेली। मतदान को लेकर जिले में चलाए गए मतदाता जागरूकता अभियान का बड़ा असर सामने आया है। जिले में मतदाताओं की संख्या तो बढ़ी ही है, खास बात यह है कि इस बार महिला मतदाताओं की संख्या तेजी से बढ़ी है। पुरुषों के मुकाबले महिला वोटर इस बार ज्यादा हुई हैं।
आगामी विधानसभा चुनाव को देखते हुए प्रशासनिक अमला सक्रिय हैं। एक नवंबर से 30 नवंबर तक जिले में मतदाता सूची के पुनरीक्षण का काम कराया गया। इसमें करीब 1.45 लाख लोगों ने मतदाता सूची में नाम शामिल कराने के लिए आवेदन किया था। पुनरीक्षण के बाद करीब 1.14 लाख नए मतदाता बनाए गए हैं। इसमें 18 से 19 साल के युवाओं की भी अच्छी संख्या है
करीब 47106 युवाओं के नाम नई मतदाता सूची में जोड़े गए हैं। यह सभी पहली बार अपने मताधिकार का इस्तेमाल करेंगे। नई मतदाता सूची वेबसाइट में अपलोड करने का काम किया जा रहा है। इसके साथ ही इस बार जिले में महिलाओं के वोट भी काफी बनाए गए हैं। इस कारण लिंगानुपात में भी अंतर आया है। एक नवंबर को जिले में एक हजार पुरुषों के सापेक्ष महिला वोटरों की संख्या 839 थी। मतदाता सूची पुनरीक्षण के बाद यह संख्या 849 हो गई है। इस बार पहले की अपेक्षा अधिक महिलाएं अपने पसंदीदा प्रत्या
कैंट में ज्यादा तो शहर में कम थी महिला वोटर
पिछली बार विधानसभा चुनाव के समय महिला वोटरों की संख्या कैंट विधानसभा क्षेत्र में अधिक थी। वहां करीब 350744 वोटरों में से महिला मतदाताओं की संख्या करीब 159392 थी, जबकि पुरुष मतदाता 191352 ही थे। वही, शहर विधानसभा क्षेत्र में कुल 425604 वोटरों में से पुरुषों की संख्या अधिक थी। पुरुष वोटर 233271 थे तो महिला मतदाताओं के संख्या 192333 ही थी
मतदाता जागरूकता अभियान का रहा असर
जिले में मतदाताओं का ग्राफ बढ़ाने के लिए प्रशासन की ओर से जागरूकता अभियान चलाया गया। हर कार्यक्रम में वोट बढ़ाने को लेकर लोगों को जागरूक किया गया। नुक्कड़ नाटक, वोट के फायदे आदि बताकर लोगों के इस मताधिकार की विशेषता को बताया गया। सरकारी विभागों के साथ ही तमाम संगठनों ने इसके लिए अभियान चलाए। इसी का असर रहा कि इस बार नए वोटरों की संख्या में काफी इजाफा हुआ है। इतना ही नहीं महिला वोटरों का अनुपात पहले से काफी सुधरा है।