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RGA न्यूज़
श्रम एवं रोजगार मंत्रालय के केंद्रीय मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) रहे संतोष गंगवार को डेढ़ महीने बाद लोक सभा अध्यक्ष के चयन के बाद 22 सदस्यों वाली सरकारी उपक्रम संबंधी समिति के सभापति बनाए गए हैं।
बरेली, मोदी केबिनेट विस्तार के दौरान केंद्रीय श्रम एवं रोजगार मंत्रालय छिनने के बाद अब पूर्व केंद्रीय मंत्री को अहम जिम्मेदारी दी गई है। लोकसभा अध्यक्ष की तरफ से जारी हुए पत्र में संतोष गंगवार को सरकारी उपक्रम संबंधी समिति का सभापति बनाया गया है। केंद्र ने यह जिम्मेदारी संतोष गंगवार को मंत्रालय छीनने के डेढ़ महीने बाद सौंपी है। जिनका चयन लोक सभा अध्यक्ष के चयन के बाद 22 सदस्यों वाली सरकारी उपक्रम संबंधी समिति के सभापति के रूप में किया। हालांकि मंत्री पद से हटने के बाद उन्हें राज्यपाल से लेकर लोकसभा स्पीकर बनाए जाने को लेकर अटकले लगाई जाती रही है।
बरेली से सांसद संतोष गंगवार वित्त राज्य मंत्री और कपड़ा मंत्री रहे। 13 लोकसभा में अटल बिहारी बाजपेयी की सरकार में वह पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस राज्य मंत्री के साथ संसदीय राज्य कार्यमंत्री को प्रभार भी संभाल चुके है। करीब डेढ़ महीने पहले मंत्री पद से उनका इस्तीफा हुआ। इसके बाद अटकलों का दौर शुरू हुआ था। मंत्री पद जाने पर पूर्व केंद्रीय मंत्री ने खुलकर कभी कुछ नहीं कहा। लेकिन उनके लोकसभा स्पीकर बनाए जाने की चर्चा चली। ये भी कहा गया कि वह किसी राज्य के राज्यपाल बनाए जा सकते हैं। अब सरकारी उपक्रम संबंधी समिति के सभापति बनाए जाने के बाद उन्होंने कहा कि यह अहम जिम्मेदारी मिली है। सोमवार को दिल्ली पहुंचने के बाद समिति के कार्यों के बारे में बता सकेंगे।
संतोष को कहा जाता है बरेली का राजनीतिक हीरो
राजनीति में खासा तजुर्बा रखने वाले संतोष गंगवार की राजनीति में छवि राजनीतिक हीरों की तरह है।उन्हें बरेली की राजनीति का चाणक्य भी कहा जाता है।बरेली से आठ बार सांसद रह चुके संतोष गंगवार ने 1989 में नौंवी लोकसभा से सांसद निर्वाचित होने के बाद सियासत की दुनिया में कदम रखा ।1948 में रुहेलखंड की भूमि पर जन्में संतोष गंगवार ने लगातार 2009 तक जीत दर्ज कर सियासत में अपना अलग मुकाम हासिल किया है।वह 2014 और 2019 के चुनावाें में विजय होकर संसद पहुंचे और मंत्री बनाए गए।इसके अलावा पहले भी संतोष कई अहम पदो की जिम्मेदारी संभाल चुके है।हांलाकि मोदी मंत्रिमंडल के विस्तार के दौरान मंत्रालय पद से इस्तीफा देने की खबर ने कई राजनीतिज्ञों को चौंका दिया था।