नगर निगम ने करोड़ाें रुपये बहा दिए, फिर भी नलकूप और हैंड पंप से पानी न बहा

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RGAन्यूज़

जलापूर्ति के लिए हैंडपंप भी अच्छा माध्यम हैं। ट्यूबवेल न चले या बिजली चली जाए तो शहरवासी हैंडपंप से पानी लेते हैं। नगर निगम अधिकारी भी ये बात समझते हैं तभी तो सालभर में 1100 हैंडपंप रिबोर कराने के टेंडर निकाल दिए।

कई हैंडपंप तो रिबोर होने के कुछ समय बाद ही खराब हो गए।

अलीगढ़। जलापूर्ति के लिए हैंडपंप भी अच्छा माध्यम हैं। ट्यूबवेल न चले, या बिजली चली जाए तो शहरवासी हैंडपंप से पानी लेते हैं। नगर निगम अधिकारी भी ये बात समझते हैं, तभी तो सालभर में 1100 हैंडपंप रिबोर कराने के टेंडर निकाल दिए। 6.60 करोड़ का बजट इसी में खपा दिया। ठेकेदारों का भुगतान भी हो चुका है। इसके बाद भी अधिकतर हैंडपंप पानी न दे सके। हर वार्ड में आधे से ज्यादा हैंडपंप रिबोर न होने से सूखे खड़े हैं। ज्यादातर पार्षदों की यही शिकायत है। सवाल उठ रहे हैं कि जो हैंडपंप रिबोर कराए गए, वे कहां हैं? कई हैंडपंप तो रिबोर होने के कुछ समय

यह है मामला 

काेरोना संकट के चलते निर्माण कार्यों के अलावा जलापूर्ति को लेकर भी कुछ खास नहीं हुआ था। दूसरी लहर थमने के बाद नगर निगम ने करोड़ों के विकास कार्यों की रूपरेखा तैयार कर ली। जलापूर्ति के लिए भी अच्छा-खासा बजट तय हुआ। इसमें ट्यूबवेल, ओवरहेड टैंक निर्माण के अलावा हैंडपंप रिबोर कराना और जर्जर हैंडपंपों को दुरुस्त कराना भी शामिल था। शुरुआत में 500 हैंडपंप रिबोर कराने का ठेका दिया गया, फिर 600 हैंडपंप और रिबोर करा लिए। एक हैंडपंप के रिबोर में 60 हजार रुपये खर्च होते हैं। 1100 हैंडपंपों पर 6.60 करोड़ का बजट प्रस्तावित था। कुछ ठेकेदारों का भुगतान पहले कर दिया गया, बाकी ठेकेदार बाद में मेहनताना लेकर चले गए। निर्देश थे कि भौतिक सत्यापन के बाद ही ठेकेदारों को भुगतान किया जाए। अफसरों का दावा है कि सत्यापन के बाद ही भुगतान किया गया है। हैंडपंप भी चालू स्थिति में बताए गए। लेकिन, वार्डों में हैंडपंपों की जो स्थिति है, उसे देखकर नहीं लगता कि 50 प्रतिशत भी हैंडपंप रिबोर कराए गए हैं

मेरे वार्ड में 20 हैंडपंप रिबाेर होने थे। छह हैंडपंपों की रिपेयरिंग होनी है। पांच हैंडपंप ही रिबोर हो सके हैं।

मुकेश शर्मा पार्षद, वार्ड 51

मेरे वार्ड में 56 हैंडपंप हैं, इनमें 10 हैंडपंप ही पानी दे रहे हैं। इस साल पांच रिबोर हुए थे। बाकी हैंडपंप रिबोर होने हैं।

संतोष दरानी पार्षद, वार्ड 23

.मेरे वार्ड में 18 हैंडपंप हैं, जो पानी नहीं दे रहे। एक हैंडपंप रिबोर हुआ था, वह भी अब पानी नहीं दे रहा।

मुशर्रफ हुसैन पार्षद, वार्ड 54

पांच हैंडपंप रिबोर हुए थे। छह हैंडपंप पानी नहीं दे रहे।

विजय तोमर पार्षद, वार्ड 42

आठ हैंडपंप रिबोर कराने का प्रस्ताव दिया था। डेढ़ साल पहले पांच रिबोर हुए थे। रजानगर आैर आसपास के क्षेत्र में 20 हैंडपंप रिबोर होने हैं, इनमें से एक भी रिबोर नहीं कराया गया।

शाकिर अली पार्षद, वार्ड 47

मेरे वार्ड में एक भी हैंडपंप रिबोर नहीं कराया गया है। कोई हैंडपंप पानी नहीं दे रहा। कई बार शिकायत कर चुके हैं।

सुबोध वाष्र्णेय पार्षद, वार्ड

मेरे वार्ड में 35 हैंडपंप रिबोर होने हैं, एक भी हैंडपंप रिबोर नहीं कराया गया है।

मोहम्मद शाकिर पार्षद, वार्ड 35

पांच हैंडपंप ही मेरे वार्ड में रिबोर हुए हैं। 10 हैंडपंप अभी रिबोर होने हैं।

पुष्पेंद्र सिंह जादौन पार्षद, वार्ड 5

इस साल 1100 हैंडपंप रिबोर कराए गए थे। सत्यापन के बाद ही ठेकेदारों का भुगतान किया गया है। 100 हैंडपंपों का भुगतान होना शेष है। सभी हैंडपंप चालू स्थिति में हैं। पार्ट्स बदलवा कर खराब हैंडपंप भी ठीक कराए गए हैं।

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