
RGA News फैजाबाद
अयोध्या जगद्गुरु रामानंदाचार्य हंसदेवाचार्य जी महाराज का निधन अपूरणीय क्षति वह राम मंदिर आंदोलन में एक धर्म योद्धा की भांति सदैव सक्रिय रहे विश्व ¨हदू परिषद सहित संपूर्ण संघ परिवार उनके निधन से दुखी हैद्य जगद्गुरू हंसदेवाचार्य महाराज आज प्रयागराज से दिल्ली जा रहे थे। लखनऊ के समीप मार्गदुर्घटना मे उनकी मृत्यु हो गयी। कारसेवकपुरम् मे समाचार प्राप्त होते ही विहिप केन्द्रीय सलाहकार सदस्य पुरूषोत्तम नारायण ¨सह रामसखा त्रिलोकी पांडेयशिवदाससुरेन्द्र ¨सह सहित सभी शोकाकुल।विहिप के प्रान्तीय प्रवक्ता शरद शर्मा ने बताया पूज्य जगद्गुरु हंसदेवाचार्य महाराज मंदिर आंदोलन के साथ ही सामाजिक जीवन मूल्यों के प्रति समर्पित रहे हैं। एक अच्छे वक्ता के साथ ही धार्मिक एवं सांस्कृतिक मूल्यों के प्रति संवेदनशील थे। उनका निधन संगठन के साथ धार्मिक जगत के लिए अपूर्णिय क्षति है।...
अयोध्या : जगद्गुरु रामानंदाचार्य स्वामी हंसदेवाचार्य के निधन से रामनगरी भी शोकाकुल हो उठी। स्वामी हंसदेवाचार्य थे तो हरिद्वार के पर रामानंद संप्रदाय के आचार्य की हैसियत से उनका रामनगरी से गहरा सरोकार था। वे राममंदिर आंदोलन से भी जुड़े रहे और इस वजह से उनका प्राय: रामनगरी आना-जाना होता था। गत 24 नवंबर को विहिप की धर्मसभा में शिरकत करने वे आखिरी बार अयोध्या आए थे। रामनगरी में अनेक संतों और विहिप नेताओं से उनके वैयक्तिक संबंध थे और शुक्रवार को मार्ग दुर्घटना में उनके निधन की खबर सभी को हिला देने वाली थी।
रामानंद संप्रदाय के उन्हीं के समकक्ष आचार्य जगद्गुरु स्वामी रामदिनेशाचार्य ने कहा, वे संप्रदाय के गौरव थे और उनसे उपजी शून्यता की भरपाई कठिन होगी। रामवल्लभाकुंज के अधिकारी राजकुमारदास ने कहा, संप्रदाय के प्रति उनकी निष्ठा बराबर प्रेरित करती रहेगी। नाका हनुमानगढ़ी के महंत रामदास ने संप्रदायाचार्य के आकस्मिक निधन को त्रासदपूर्ण बताया। तपस्वीजी की छावनी के महंत परमहंसदास ने कहा, उन्हें भुलाना असंभव होगा। निर्वाणीअनी अखाड़ा के महासचिव महंत गौरीशंकरदास ने कहा, उनका न रहना गुरुवत स्नेह से वंचित होने की असहनीय पीड़ा है। वशिष्ठभवन के महंत डॉ. राघवेशदास ने कहा, मंदिर आंदोलन के मंचों पर उनकी मौजूदगी रामभक्तों को आश्वस्त करती थी। निष्काम सेवा ट्रस्ट के व्यवस्थापक महंत रामचंद्रदास ने कहा, संप्रदायाचार्य के साथ एक साधु के रूप में भी वे प्रेरक हैं। मधुकरी संत मिथिलाबिहारीदास ने कहा, इस तरह उनका जाना असह्य है। विहिप के केंद्रीय सलाहकार पुरुषोत्तमनारायण ¨सह, रामसखा त्रिलोकीनाथ पांडेय, प्रांतीय प्रवक्ता शरद शर्मा, शिवदास, सुरेंद्र ¨सह आदि ने भी उनके निधन पर गहरा शोक जताया।