सहकारी समितियों ने पूर्व अध्यक्ष पर लगाया उत्पीड़न का आरोप, आंदोलन की दी चेतावनी

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RGAन्यूज़ नई दिल्ली गाजियाबाद संवाददाता

Ghaziabad News सिद्धार्थ विहार आवासीय योजना के अंदर आवासीय समिति वेलफेयर एसोसिएशन ने मंगलवार को प्रेस वार्ता कर आंदोलन की चेतावनी दी। केंद्रीय जलायोग सहकारी आवास समिति के उपाध्यक्ष अरविंद सक्सेना ने 12 समितियों की तरफ से पक्ष रखा।

साहिबाबाद, संवाददाता:- आवास विकास परिषद की सिद्धार्थ विहार में अपनी जमीन देनी वाली सहकारी समितियों ने आवास विकास परिषद और उत्तर प्रदेश श्रम कल्याण परिषद के पूर्व अध्यक्ष पर उत्पीड़न के आरोप लगाए हैं। सिद्धार्थ विहार आवासीय योजना के अंदर आवासीय समिति वेलफेयर एसोसिएशन ने मंगलवार को प्रेस वार्ता कर आंदोलन की चेतावनी दी। केंद्रीय जलायोग सहकारी आवास समिति के उपाध्यक्ष अरविंद सक्सेना ने 12 समितियों की तरफ से पक्ष रखा। उन्होंने बताया कि 1998 में उनकी भूमि सिद्धार्थ विहार योजना में शामिल की गई

पूर्व अध्यक्ष सुनील भराला पर अड़चन पैदा करने आरोप

समितियों को उनकी भूमि के सापेक्ष पचास प्रतिशत अविकसित भूमि ही परिषद ने दी। इसके साथ ही विकास शुल्क भी लिया। अब कुछ समितियों ने नियमानुसार निजी डेवलपर के साथ साझेदारी कर फ्लैट बनाना शुरू किया है। इसमें एक श्रम कल्याण परिषद के पूर्व अध्यक्ष सुनील भराला अड़चन पैदा करने की कोशिश कर रहे हैं। उनकी शिकायत पर एक बार परिषद के अधिकारी उनके भूमि आवंटन की जांच कर रहे हैं। जांच रिपोर्ट समितियों के पक्ष में आई तो उन्होंने दूसरी शिकायत कर दी।

समितियों पर 170 करोड़ का घोटाले का आरोप लगाया

यह भ्रम फैलाया जा रहा है कि समितियों ने ज्यादा जमीन डेवलपर के साथ मिलीभगत से प्राप्त की है। जबकि परिषद ने सिद्धार्थ विहार की समितियों को 50 प्रतिशत अविकसित जमीन दी है। उधर, अजंतापुरम की समितियों को 80 प्रतिशत जमीन दी गई है। उन्होंने समितियों पर 170 करोड़ का घोटाले का आरोप लगाया है जबकि अगर वह समितियों पर समायोजन शुल्क बकाया होने की बात कह रहे हैं तो वह बकाया है ना कि घोटाला।

मुख्यमंत्री से करेंगे मुलाकात

समितियों के अनुसार वह पूर्व दर्जाप्राप्त राज्यमंत्री की मंशा नहीं समझ पा रहे हैं, लेकिन इसके खिलाफ वह मुख्यमंत्री से मुलाकात करेंगे। साथ ही अगर उनका उत्पीड़न जारी रहता है तो वे आंदोलन पर उतरेंगे। समितियां इस समायोजन शुल्क का विरोध करेंगीं क्योंकि अधिग्रहण के दौरान इस प्रकार का कोई शुल्क उनपर आरोपित नहीं किया गया था। वह इस मामले में न्यायालय का दरवाजा भी खटखटाएंगे।

डेवलपर ने भी लगाए आरोप

समितियों के फ्लैट निर्माण कर रहे टीएंडटी कंपनी के बिजनेस डेवलपमेंट हेड निखिल शिशोदिया ने बताया कि वह नियमों के अनुसार साझेदारी में समितियों के फ्लैट बना रहे हैं लेकिन उनपर भी अनर्गल आरेप लगाए जा रहे हैं। वहीं एक मीडियाकर्मी महरूफ खान उन्हें सेटलमेंट करवाने को कह रह है। कंपनी की ओर से उसके खिलाफ एफआइआर दर्ज करवाई गई है। उनका ग्रुप नियमानुसार दो समितियों के साथ करार के तहत काम कर रहा है। जमीन के आवंटन अथवा अधिग्रहण से उनका कोई लेना-देना नहीं है।

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